नागरिकता संशोधन अधिनियम (CAA) के अनुसार भारत पाकिस्तान, बांग्लादेश और अफगानिस्तान से 'उत्पीड़ित' गैर-मुस्लिम प्रवासियों को नागरिकता प्रदान करेगा।
CAA नियमों का उद्देश्य सताए गए गैर-मुस्लिम प्रवासियों को भारतीय नागरिकता प्रदान करना है।
भारतीय नागरिकता प्रदान करना है ,जिनमें हिंदू, सिख, जैन, बौद्ध, पारसी और ईसाई शामिल हैं।
नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली सरकार ने 11 मार्च को नागरिकता संशोधन अधिनियम (CAA) 2019 के कार्यान्वयन की शुरुआत की।
लोगों ने इस अधिनियम पर भारतीय संविधान का उल्लंघन करने का आरोप लगाया।
सरकार का कहना है कि भारतीय नागरिकता के लिए आवेदन ऑनलाइन किया जाएगा।
भारतीय संविधान अनुच्छेद 14 और 15 केवल भारतीय नागरिकों पर लागू होता है।